एक ऐसा मामला सामने आया है जिसमें एक पिता ने उसके दिव्यांग बेटे को सरकारी नौकरी लगवाने का झांसा देकर 1.8 लाख रुपए ले लिए, लेकिन उसे सरकारी नौकरी नहीं लगवाई और जयपुर आने-जाने में खर्च हुई राशि भी नहीं दी। हालांकि दबाव बनाने पर परिवादी को 1.8 लाख रुपए वापस मिल गए। इस संबंध में जंक्शन थाने में मामला दर्ज हुआ है। पुलिस अधीक्षक के आदेश पर दर्ज मामले में गांव मक्कासर निवासी बृजलाल पुत्र भगवानाराम कुम्हार ने बताया कि जंक्शन के वार्ड 4 नई खुंजा में उसकी आटा चक्की है।
उसकी चक्की के पड़ोस में राजकुमार डोडा भी दुकान चलाता है। करीब 4-5 माह पहले राजकुमार डोडा ने उसके दिव्यांग बेटे को डाटा एंट्री ऑपरेटर (कम्प्यूटर ऑपरेटर) के पद पर सरकारी नौकरी लगवाने का झांसा दिया। राजकुमार डोडा ने उससे कहा कि वह उसे 1.8 लाख रुपए दे दे तो वह उसके दिव्यांग बेटे को स्वास्थ्य विभाग में नौकरी लगवा देगा। राजकुमार डोडा की बातों पर विश्वास करके उसने अलग-अलग तारीखों में ऑनलाइन पेमेंट के जरिए 1.8 लाख रुपए दे दिए। राजकुमार डोडा उसे 3-4 बार जयपुर ले गया। वहां उसने सद्दाम हुसैन नाम के व्यक्ति से मिलवाया। दोनों उसे कभी मंत्री के आवासीय क्षेत्र में तो कभी स्वास्थ्य भवन के आसपास घुमाते रहे। राजकुमार डोडा और सद्दाम हुसैन ने उससे कहा कि मंत्री के पीए समीर खान से हमारी डील हो गई है।
तुम्हें सिर्फ उसके खाते में पैसे जमा करवाने हैं। इस पर उसने 26 दिसंबर 2024 को समीर खान के फोन पे में 1 लाख 80 हजार रुपए डाल दिए। पैसे लेने के बावजूद इन लोगों ने उसके बेटे की नौकरी नहीं लगवाई। जब उसे पता चला कि राजकुमार डोडा ने उसके साथ धोखाधड़ी की है तो उसने अपने पैसे वापस मांगे। राजकुमार डोडा ने उसे 1 लाख 80 हजार रुपए लौटा दिए, लेकिन 4-5 बार जयपुर आने-जाने का खर्च नहीं दे रहा है। उसने उक्त पैसे किसी से ब्याज पर लिए थे, जिसका ब्याज काफी ज्यादा हो गया है।
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