शिमला: हिमाचल प्रदेश में सीमेंट के दामों में एक बार फिर बढ़ोतरी हुई है। ये खबर आप हिमाचली खबर में पढ़ रहे हैं। । प्रमुख सीमेंट कंपनियां अंबुजा, एसीसी और अल्ट्राटेक ने प्रति बैग कीमत में पांच रुपये की वृद्धि की है। यह वृद्धि एक महीने के भीतर दूसरी बार हुई है। सीमेंट की कीमतों में लगातार हो रही बढ़ोतरी से उपभोक्ताओं को तगड़ा झटका लगा है। हिमाचल प्रदेश में सीमेंट की कीमत बढ़ने के बाद लोगों को 435 से 490 रुपए प्रति बैग दाम चुकाने होंगे।
विपक्ष ने बोला हमला सीमेंट की बढ़ी कीमतों को लेकर विपक्ष ने प्रदेश सरकार को आड़े हाथों लिया है। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कांग्रेस सरकार पर निशाना साधते हुए रविवार को कहा कि सत्ता में आने के बाद सीमेंट की कीमतों में बेतहाशा वृद्धि हुई है। कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में अब तक सीमेंट की कीमत प्रति बैग 160 रुपये तक बढ़ चुकी है।
विपक्ष ने लगाए सरकार पर आरोप जयराम ठाकुर ने कहा कि जब कांग्रेस विपक्ष में थी तब वह कहती थी कि सीमेंट कंपनियों के साथ सरकार की मिलीभगत है। सरकार दाम नियंत्रित कर सकती है लेकिन अब सत्ता में आने के बाद कांग्रेस ने चुप्पी साध ली है। कांग्रेस सरकार सीमेंट की कीमतों को नियंत्रित क्यों नहीं कर रही है। क्या सीमेंट कंपनियों के साथ सरकार की कोई सांठगांठ है? यदि नहीं तो कीमतों में इस तरह की बढ़ोतरी क्यों हो रही है? सरकार को इस पर सफाई देनी चाहिए।
उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान का जवाब विपक्ष के आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए उद्योग मंत्री हर्ष वर्धन चौहान ने कहा कि सीमेंट कंपनियों पर केंद्र और प्रदेश सरकारों का कोई सीधा नियंत्रण नहीं होता है। हालांकि सरकार कंपनियों से बातचीत कर कीमतों को स्थिर रखने का आग्रह कर सकती है।
विपक्ष पर पलटवार उद्योग मंत्री ने विपक्ष पर पलटवार करते हुए कहा कि कांग्रेस सरकार के पिछले दो वर्षों के कार्यकाल में सीमेंट की कीमतों में केवल 30 रुपये की वृद्धि हुई है जबकि भाजपा सरकार के पांच सालों में 130 रुपये का इजाफा हुआ था। उन्होंने विपक्ष के आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि सीमेंट कंपनियों के साथ सरकार की किसी भी तरह की मिलीभगत का सवाल ही नहीं उठता।
सीमेंट की कीमतों में वृद्धि से आम जनता परेशान सीमेंट की कीमतों में बार-बार हो रही बढ़ोतरी ने प्रदेश में पहले से ही महंगाई की मार झेल रही जनता को अब निर्माण सामग्री के बढ़ते दामों का भी सामना करना पड़ रहा है। लोगों का मानना है कि हिमाचल प्रदेश में सीमेंट उत्पादन होने के बावजूद यहां की जनता को महंगे दामों पर सीमेंट खरीदने को मजबूर होना पड़ता है। लोगों का कहना है कि सरकार को इस मुद्दे पर सख्त रुख अपनाना चाहिए और सीमेंट कंपनियों को दाम बढ़ाने से रोकने के लिए ठोस कदम उठाने चाहिए।
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