काठमांडू, 12 मई . राष्ट्रीय प्रजातंत्र पार्टी (राप्रपा) के नेतृत्व में राजतंत्र की पुनर्स्थापना की मांग को लेकर 29 मई से शुरू होने जा रहे काठमांडू केन्द्रित अनिश्चितकालीन आंदोलन को 40 से अधिक संगठनों का समर्थन मिला है.
काठमांडू में आयोजित बैठक में राप्रपा के अध्यक्ष राजेन्द्र लिंगदेन के नेतृत्व में संयुक्त जनआंदोलन समिति ने घोषणा की कि 40 से अधिक संस्थाओं ने अपना पूर्ण समर्थन जताते हुए इसमें सहभागी होने के लिए अपनी प्रतिबद्धता जाहिर की है. बैठक के दौरान लिंगदेन ने कहा कि इस बार का अनिश्चितकालीन आंदोलन राजशाही की पुनर्स्थापना के बिना खत्म नहीं होने वाला है.
उन्होंने कहा कि जिस दिन नेपाल का नया संविधान जारी हुआ, जिस दिन नेपाल में राजतंत्र की समाप्ति की औपचारिक घोषणा की गई और जिस दिन नेपाल को गणतंत्र देश घोषित किया गया उसी दिन से राजशाही की पुनर्स्थापना के लिए अनिश्चितकालीन आंदोलन की शुरुआत की जा रही है. राजेन्द्र लिंगदेन ने कहा कि इस बार के आंदोलन में काठमांडू से बाहर की भी जनता से इस आंदोलन में सहभागी होने का आह्वान किया गया है.
राजशाही की मांग रख कर अपनी राजनीति करने वाले कमल थापा ने भी इसमें सहभागी होने की घोषणा की है. कभी राप्रपा के वर्षों तक राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे और बाद में अपना अलग राजनीतिक दल बनाने वाले पूर्व उप प्रधानमंत्री थापा भी काठमांडू में आयोजित बैठक में सहभागी हुए और इस आंदोलन में अपना पूर्ण समर्थन होने की घोषणा की है.
इसके अलावा पूर्व राजा ज्ञानेन्द्र शाह द्वारा गठित की गई संयुक्त संघर्ष समिति के संयोजक नवराज सुवेदी ने भी इसे अपना समर्थन दिया है. इसके अलावा विश्व हिन्दू महासंघ, शिव सेना नेपाल, हिन्दू सम्राट सेना, ओमकार परिवार, सनातन परिवार नेपाल आदि संस्थाओं ने आंदोलन को अपना पूर्ण समर्थन दिया है.
—————
/ पंकज दास
You may also like
अपराध पर लगेगा हाईटेक ब्रेक! इस आधुनिक डिवाइस से अपराधियों की धरपकड़ और ट्रैकिंग में मिलेगी मदद
कोहली ने सबको महसूस कराया टेस्ट क्रिकेट सबसे अहम : डब्ल्यूवी रमन
किसी भी खतरे को मारने में सक्षम है भारतीय नौसेना : वाइस एडमिरल एएन प्रमोद
'सच में इसके बारे में नहीं सोचा था…', कोहली के संन्यास से चौंका बॉलीवुड
मानवता धर्म यही है कि किसी की जान बचती है तो बचाना चाहिए : तेजस्वी यादव